इंतजार खत्म, आखिरकार मिल ही गया एम्स, हिमाचल प्रदेश में आधारशिला रखेंगे पीएम मोदी

By: Dilip Kumar
9/25/2017 1:58:40 AM
नई दिल्ली

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 3 अक्तूबर को हिमाचल प्रदेश के बिलासपुर जिले के कोठीपुरा में आल इंडिया इंस्टिट्यूट ऑफ मेडिकल साइसेंस (एम्स) का शिलान्यास करेंगे। बिलासपुर में खुलने वाला चिकित्सा संस्थान देश का आठवां एम्स होगा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने रविवार को पीएम के कार्यक्रम की अधिकारिक घोषणा कर दी है। पीएम के दौरे को विधानसभा चुनाव से जोड़कर देखा जा रहा है। प्रदेश में आचार संहिता से ठीक पहले पीएम के शिलान्यास कार्यक्रम के बाद बिलासपुर में चुनावी रैली भी आयोजित की जाएगी।

लंबे समय से एम्स के मुद्दे पर कांग्रेस के अलावा भाजपा में अंदरूनी राजनीति चल रही थी। एम्स को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय और प्रदेश सरकार की खींचतान में दोनों पक्ष आरोप प्रत्यारोप की सियासत करते रहे, जिससे एम्स का शिलान्यास लटका हुआ था।
भाजपा चुनाव से पहले हर हाल में अत्याधुनिक सुविधाओं वाले चिकित्सा संस्थान की नींव रख कर सियासी फायदा उठाना चाहती थी। आखिरकार प्रधानमंत्री कार्यालय से सहमति मिलने के बाद शिलान्यास का रास्ता साफ हो गया। पीएम की बिलासपुर में एक चुनावी रैली भी आयोजित की जा रही है।

रैली में प्रधानमंत्री प्रदेश के लिए कई दूसरी सौगातों की घोषणा कर सकते हैं। दरअसल, भाजपा अभी तक के प्रचार अभियान में केंद्र के भरोसे ही कांग्रेस को मात देने की कोशिश में है। परिवर्तन यात्रा में भी केंद्रीय मंत्रियों के दौरों के भरोसे प्रदेश संगठन ने वोट बैंक को साधने की कोशिश की है। राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के कांगड़ा दौरे के बाद प्रधानमंत्री के कार्यक्रम से भाजपा अपनी चुनावी मुहिम को और तेज करेगी।

नड्डा बोले, प्रदेश के लिए मील का पत्थर

केंद्रीय मंत्री जेपी नड्डा ने कहा कि स्वास्थ्य क्षेत्र में एनडीए सरकार की उपलब्धियों की सूची में एम्स बिलासपुर एक और मील का पत्थर है। पीएम मोदी के मार्गदर्शन और दूरदर्शी नेतृत्व में लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान करने संबंधी स्वास्थ्य का नेटवर्क तेजी से आगे बढ़ रहा है। एम्स बिलासपुर न केवल हिमाचल बल्कि अन्य उत्तरी राज्यों को भी बेहतर चिकित्सा सुविधाएं देगा। पीएम मोदी के रूप में एक व्यवहारिक एवं प्रगतिशील नेता के मार्गदर्शन में प्रदेश स्वास्थ्य के क्षेत्र में काफी लाभान्वित हुआ है। एम्स अपनी विविध चिकित्सा सुविधाओं के बल पर इस पहाड़ी राज्य को व्यापक विकास की ओर अग्रसर करेगा।

3 अक्टूबर हिमाचल के इतिहास में स्वर्णिम दिन के रूप में अंकित होगा जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बिलासपुर में एम्स की आधारशिला रखेंगे। एम्स बनने से प्रदेश के लोगों को उच्च स्तरीय चिकित्सीय शिक्षा व स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध होंगी। लोगों को अन्य क्षेत्रों में अपना इलाज करवाने के लिए नहीं जाना पड़ेगा। - सतपाल सिंह सत्ती, प्रदेश अध्यक्ष भाजपा

एक नई पहचान दिलाएगा एम्स

एम्स के शिलान्यास के साथ बिलासपुर जिले को राष्ट्रीय स्तर पर अलग पहचान मिलेगी। इससे पहले बिलासपुर में हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज का शिलान्यास हो चुका है। एम्स का शिलान्यास होने से जिले में पर्यटन कारोबार को बढ़ावा मिलेगा। प्रदेश के लोगों को भी उपचार के लिए दिल्ली या चंडीगढ़ नहीं जाना पड़ेगा।

गोबिंदसागर तट पर बसे बिलासपुर जिले के लोगों ने भाखड़ा डैम बनने के दौरान विस्थापन का दंश झेला। कोल डैम के समय भी सैकड़ों परिवार विस्थापित हुए। लोगों को यही मलाल रहा कि बावजूद इसके बिलासपुर को कोई बड़ा संस्थान नहीं मिला। अब हाइड्रो कॉलेज और तीन अक्तूबर को एम्स का शिलान्यास होने से बिलासपुर के नाम एक और नेशनल स्तर का संस्थान हो जाएगा।

हालांकि, अभी हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज की कक्षाएं कांगड़ा में चल रही हैं, लेकिन संबधित विभाग का दावा है कि अगले सत्र से कक्षाएं बिलासपुर में शुरू हो जाएंगी। इधर, बिलासपुर में दो नेशनल स्तर के संस्थान एक साथ खुलने से बिलासपुर के लोगों में खुशी की लहर है। एम्स शुरू से हिमाचल के साथ पंजाब के कुछ जिलों को भी लाभ मिलेगा।

लगातार 18 दिन अनशन, खिले चेहरे

बिलासपुर में एम्स के शिलान्यास की मांग पर पिछले 18 दिन से चल रहे क्रमिक अनशन का रविवार को 19 वें दिन समापन हो गया। साहित्यकार कुलदीप चंदेल ने अनशन पर बैठे युवाओं को जूस पिलाया। जागो मंच ने एक दूसरे को गले लगाकर इसकी बधाई दी। प्रवक्ता केश पठानिया ने बताया कि सोमवार को मंच के सदस्य शहर में निकालेंगे।

इसे विजय उत्सव के रूप में मनाया जाएगा। मिठाइयां बांटी जाएंगी और पटाखे फोड़े जाएंगे। बिलासपुर में केंद्रीय मंत्री नड्डा ने बयान दिया था कि अभी एम्स का समय और स्थान चिन्हित नहीं है। इसके बाद जिला की सामाजिक संस्थाओं ने मिलकर एक नए मंच का गठन किया था। इसे जागो बिलासपुर मंच का नाम दिया गया।

मंच का गठन होने के बाद विभिन्न संस्थाओं के सदस्यों ने एम्स की मांग पर क्रमिक अनशन शुरू कर दिया। यह 18 दिन तक जारी रहा। 19वें दिन मंडी और हमीरपुर के युवा क्रमिक अनशन पर बैठने बिलासपुर पहुंचे थे। इसके बाद केंद्रीय मंत्री के बयान और पीएम मोदी का दौरा फाइनल होते ही जागो मंच ने क्रमिक अनशन समाप्त करने का निर्णय लिया।

सीएम से उठाया था एम्स देने का मामला: रामलाल

रामलाल ठाकुर ने एम्स का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि 2014 की कैबिनेट बैठक में उन्होंने सीएम से मांग की थी कि एम्स बिलासपुर को ही मिलना चाहिए। आईआईएम सिरमौर दे दिया था, आईआईटी मंडी, केंद्रीय विश्वविद्यालय, एनआईएफ कांगड़ा जिले को दे दिए थे, जबकि हमीरपुर में एनआईटी पहले से ही है। उन्होंने सीएम से कहा था कि विस्थापितों का शहर है इसलिए बिलासपुर को एम्स दे दिया जाए। इसके बाद एम्स बिलासपुर को दिया गया।

एम्स का बिलासपुर में खुलने पर स्वागत: सांख्यान

जिला कांग्रेस महासचिव संदीप सांख्यान ने बिलासपुर में एम्स खुलने का स्वागत किया है। उन्होंने यह प्रश्न भी उठाया कि चुनावों से पहले ही शिलान्यास होते हैं। प्रदेश सरकार ने 2014 में कैबिनेट में इसके लिए जमीन बिलासपुर के कोठीपुरा में दी थी तो इतना लंबा समय क्यों लगा दिया? सांख्यान ने कहा कि जब यूपी में चुनाव आए तो लखनऊ में शिलान्यास किया, पंजाब में आए तो भटिंडा में एम्स का शिलान्यास किया ओर अब प्रदेश में चुनाव आए हैं तो यहां एम्स का शिलान्यास हो रहा है।


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