योगी का वादा- शहीद के परिवार की हरसंभव मदद करेंगे, दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा

By: Dilip Kumar
12/6/2018 8:48:52 PM
लखनऊ

बुलन्दशहर@रविन्द्र कुमार शर्मा। बुलंदशहर में गोकशी की अफवाह के बाद भड़की हिंसा में शहीद हुए इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह के परिजनों ने आज लखनऊ के पांच कालिदास मार्ग स्थित मुख्यमंत्री आवास पर सीएम योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की। सीएम योगी ने कल सुबोध कुमार के परिवार को मिलने के लिए लखनऊ बुलाया था। स्याना के गांव महाव में हिंसा और आगजनी में मारे गए सुमित के परिजनों को सीएम योगी ने 10 लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की है। सीएम ने इसे एक गहरी साजिश बताया और अफसरों को साजिश की तह तक जाने का आदेश दिया। सीएम ने आगजनी करने वाले और गौतस्करों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का आदेश दिया। सीएम ने कहा कि आखिर उसी जिले में ये घटना क्यों हुई जिस जिले में बड़ा आयोजन हो रहा था। इसलिए सीएम योगी ने हिंसा को लेकर साजिश की बात कही।

सीएम ने गोरखपुर से लौटने के बाद मुख्य सचिव डा. अनूप चंद्र पाण्डेय, प्रमुख सचिव गृह अरविंद कुमार, डीजीपी ओपी सिंह, अपर प्रमुख सचिव अवनीश अवस्थी, एडीजी कानून-व्यवस्था आनंद कुमार को अपने आ‌वास पर बुलाया। मुख्यमंत्री ने खासतौर पर बुलंदशहर और लखनऊ में हुई घटनाओं पर नाराज़गी जताई। उन्होंने कहा कि बुलंदशहर कांड की गंभीरता से जांच की जाए। गोकशी में शामिल लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए। उन्होंने गोकशी से संबंध रखने वाले प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष सभी लोगों को समयबद्ध तरीके से गिरफ्तार करने के निर्देश दिए।

उन्होंने नाराज़गी जताते हुए कहा कि जब 19 मार्च 2017 से अवैध बूचड़खाने बंद कर दिए गए हैं तो यह अवैध कार्य कैसे हो रहा था। मुख्यमंत्री ने इस घटना के मद्देनज़र सभी जिलों के डीएम व एसपी को निर्देश दिए कि जिन जिलों में इस तरह की अ‌वैध काम होंगे, वहां के अधिकारी सीधे व्यक्तिगत तौर पर जिम्मेदार होंगे। उन्होंने ऐसे काम हर हाल में रोकने के निर्देश दिए और मुख्य सचिव व डीजीपी से इसे जमीनी स्तर पर अनुपालन कराने के निर्देश दिए। बैठक में अपर प्रमुख सचिव अवनीश अवस्थी के अलावा मुख्यमंत्री के सलाहकार मृत्युंजय कुमार भी मौजूद रहे।

बुलंदशहर हिंसा: एडीजी इंटेलीजेंस ने पूरी की जांच, लिए बयान

एडीजी इंटेलीजेंस एसबी शिरोडकर मंगलवार को घटना स्थल पर पहुंचे। उन्होंने सबसे पहले घटना स्थल का जायजा लिया। इसके बाद एडीजी ने प्रत्यक्षदर्शी पुलिस कर्मी और पुलिस अधिकारियों के बयान दर्ज किए। एसआईटी की टीम बाद में गांव पहुंचे और गांव वालों के बयान दर्ज किए। शाम को एसआईटी वापस लखनऊ लौट गई। जांच का निष्कर्ष क्या निकला इसका खुलाया फिलहाल नहीं हुआ है। दरअसल मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घटना की जांच कर रिपोर्ट 48 घंटे के भीतर प्रस्तुत करने का आदेश दिया था। इसी क्रम में जांच हर बिंदु पर की गई।


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