ISRO की अंतरिक्ष में सफल उड़ान, सर्जिकल स्‍ट्राइक में मदद करेगा PSLV-C 38

By: Dilip Kumar
6/23/2017 5:29:01 PM
नई दिल्ली

भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो ने आज अपने प्रमुख रॉकेट प्रक्षेपण यान पीएसएलवी से कार्टाेसैट-2 श्रृंखला के एक उपग्रह और 30 नैनो उपग्रहों को कक्षा में स्थापित किया है। कार्टाेसैट-2 श्रृंखला के इस उपग्रह से रक्षा निरीक्षण को मजबूती मिलेगी। अपनी 40वीं उड़ान में पीएसएलवी सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र के पहले लॉन्च पैड से सुबह नौ बजकर 29 मिनट पर उड़ा और इसके 27 मिनट बाद इसने उपग्रहों को कक्षा में प्रक्षेपित कर दिया। 44.4 मीटर लंबा पीएसएलवी-सी38 अपने साथ पृथ्वी के पर्यवेक्षेण वाले उपग्रह यानी कार्टाेसैट-2 श्रृंखला के उपग्रह को प्राथमिक पेलोड के तौर पर साथ लेकर गया है। इसके अलावा वह अपने साथ 30 अन्य उपग्रहों को ले गया है। इन उपग्रहों का कुल वजन 955 किलो है।

सरहद पर रखेगा पैनी नजर

ये सैटेलाइट न सिर्फ भारत के सरहदी और पड़ोस के इलाकों पर अपनी पैनी नजर रखेगा बल्कि स्मार्ट सिटी नेटवर्क की योजनाओं में भी मददगार रहेगा। ये सैटेलाइट 500 किमी से भी ज्यादा ऊंचाई से सरहदों के करीब दुश्मन की सेना के खड़े टैंकों की गिनती कर सकता है। भारत के पास पहले से ऐसे पांच सैटेलाइट मौजूद है। 

ऐसे करेगा सर्जिकल स्‍ट्राइक में मदद

इन सैटेलाइट्स में शामिल कारटोसैट-2 सैटेलाइट की मदद से भारत चीन और पाकिस्‍तान की गतिविधियों पर नजर रख सकेगा। इस सैटेलाइट की मदद से दुश्मनों के सैनिक ठिकानों में गाड़ियों तक की संख्‍या का पता भी लगाया जा सकता है। इस सीरीज के सैटेलाइट्स में पैनक्रोमैटिक और मल्‍टीस्‍पेक्‍ट्रल इमेज सेंसर फिट हैं। इसकी मदद से भारत को हाई रेजॉल्‍यूशन फोटोग्राफ मिल सकेंगी। इन तस्‍वीरों से सेनाओं को दुश्‍मन के अड्डों की सटीक जानकारी मिल पाएगी। साथ ही साथ किसी भी प्राकृतिक आपदा से पहले देश को आगाह किया जा सकेगा। 

14 देशों के उपग्रह भी शामिल

पीएसएलवी पर कार्टोसैट-2 के अलावा जो उपग्रह गए हैं, उनमें से 29 नैनो उपग्रह 14 देशों के हैं। ये देश हैं- ऑस्ट्रिया, बेल्जियम, चिली, चेक रिपब्लिक, फिनलैंड, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, लातविया, लिथुआनिया, स्लोवाकिया, ब्रिटेन और अमेरिका। इसके अलावा एक नैनो उपग्रह भारत का है।

 


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