अजीत डोभाल के प्रयासों को बड़ी सफलता, म्यांमार ने सौंपे 22 उग्रवादी

By: Dilip Kumar
5/15/2020 4:13:43 PM
नई दिल्ली

म्यांमार की सेना ने शुक्रवार दोपहर नॉर्थ-ईस्ट के 22 उग्रवादियों के एक समूह को भारत सरकार को सौंप दिया. मणिपुर और असम में वॉन्टेड इन उग्रवादियों को एक विशेष विमान से वापस लाया जाए. इन गतिविधियों ने परिचित सूत्रों ने यह जानकारी दी. उग्रवादियों के एक विमान के म्यांमार से उड़ान भरने के तुरंत बाद ही एक शीर्ष सरकारी अधिकारी ने बताया कि "म्यांमार सरकार के लिए यह एक बड़ा कदम है और दोनों देशों के बीच गहराते संबंधों को दिखाता है."


यह विमान असम के गुवाहाटी जाने से पहले मणिपुर की राजधानी इंफाल में रुकेगा. अधिकारी ने बताया, "उग्रवादियों को दोनों राज्यों में स्थानीय पुलिस  को सौंपा जाएगा." एक वरिष्ठ राष्ट्रीय सुरक्षा योजनाकार ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने नेतृत्व में संचालित इस ऑपरेशन के बारे में बताया, "यह पहली बार है कि म्यांमार सरकार ने पूर्वोत्तर उग्रवादी समूहों के नेताओं को सौंपने के भारत के अनुरोध को माना है."


कदम को दोनों देशों के बीच बढ़ते खुफिया सहयोग के तौर पर देखा जा रहा

इसे दोनों देशों के बीच बढ़ती हुई खुफिया और रक्षा सहयोग के नतीजों के तौर पर देखा जा रहा है. म्यांमार जिन उग्रवादियों को वापस भेज रहा है, उनमें कुछ वरिष्ठ उग्रवादी हैं, जो लंबे समय से वांछित थे. भारतीय उग्रवादी नेता जैसे NDFB (S) के स्वघोषित-गृह सचिव राजेन डाइमरी, UNLF के कैप्टन सनतोम्बा निंगथौजम और PREPAK (प्रो) के लेफ्टिनेंट पशूराम लेशराम शामिल हैं.

22 उग्रवादियों में से 12 मणिपुर में चार उग्रवादी समूहों से जुड़े हुए हैं: UNLF, PREPAK (Pro), KYKL और PLA. शेष 10 एनडीएफबी (एस) और केएलओ जैसे असम के उग्रवादी समूहों से जुड़े हैं. म्यांमार के साथ भारत की 1,600 किलोमीटर की सीमा के साथ धोखेबाज इलाका दशकों से भारतीय राज्य से लड़ने वाले उग्रवादी समूहों के शिविरों के लिए इलाके को आदर्श बनाता आया है.


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